ओम सपरा के संयोजन में, मित्र संगम पत्रिका :- (50 वर्ष से प्रकाशित मासिक पत्रिका, संस्थापक-  श्री प्रेम वोहरा, नाटककार, आकाशवाणी) एवं राष्टीय वरिष्ठ नागरिक काव्य मंच की ओर से स्वाधीनता दिवस की पूर्व संध्या पर एक सरस और भव्य गूगल पर ऑनलाइन राष्ट्रीय काव्य गोष्ठी, दिनांक 14 अगस्त, 2021 को सायं 4 बजे सम्पन्न हुई।
ओम सपरा ने काव्य गोष्ठी का उद्घाटन करते हुए इस वेद मंत्र का पाठ किया और बताया कि “भारत भूमि मेरी माता है और मैं उसका पुत्र हूँ” :-
 “”यते मध्यम पृथिवी यच्च नभ्यम यास्त ऊर्जस्तानव संवभुमू। तासु नो धेह्यामि नः पवस्व माता भूमि पुत्रो अहम पृथ्वया। पर्जन्य पिता स उ नः पिपरतु।।””
ओम सपरा ने “हम करें कारगिल के शहीदो को नमन” अपनी स्वरचित कविता भी प्रस्तुत की, जिसे सभी ने सराहा।
श्री उमेश मेहता, फ़ोटो जर्नलिस्ट एवम कवि, प्रकाशक ने अध्यक्षता की तथा अपने उद्बोधन के उपरांत, एक सुंदर प्रवासी-अनुभव और राष्ट्र भक्ति के संदर्भ में न्यूयॉर्क में भारत भूमि की याद को ताजा किया। उमेश जी ने स्वर्गीय प्रेम वोहरा की आकाशवाणी में नाटककार और प्रोड्यूसर, सहायक केंद्र निदेशक के तौर पर और मित्र संगम पत्रिका की साहित्य सेवा की प्रशंसा की उनकी पुण्य आत्मा  को श्रधांजलि प्रस्तुत की।
विशिष्ट अतिथि अनिल आर्य, राष्ट्रीय अध्यक्ष, केंद्रीय आर्य युवक परिषद ने प्रेरणाप्रद विचार प्रकट और युवा शक्ति को जागरूक बनने के किये आह्वान किया और एक देशभक्ति का गीत प्रस्तुत किया।
मुख्य अतिथिगण प्रोफेसर कुलदीप सलिल, श्रीमती सविता चडढा ने गीत, ग़ज़ल प्रस्तुत किये।
सारस्वत अतिथि माननीय आचार्य चंद्र शेखर शास्त्री, बौद्धिकाध्यक्ष, मित्र संगम पत्रिका ने ओजस्वी उद्बोधन दिया और देशभक्ति से परिपूर्ण कविता सुनाई। विशेष तौर पर वरिष्ठ कवि आमोद कुमार अग्रवाल और गीतकार  हरभजन सिंह देओल, संपादक, मित्र संगम पत्रिका ने काव्य पाठ किया।गरिमामय काव्यमयी उपस्थिति वरिष्ठ साहित्यकार सर्वश्री डॉ हरीश नवल, नई दिल्ली, डॉ सुरेश शुक्ल, नॉर्वे – ओस्लो, सुरेश पांडेय, स्वीडन की रही। आपका विशेष आभार।
राष्ट्रीय कवि डॉ श्री जय सिंह आर्य ने ओजस्वी काव्य पाठ किया और श्री वी पी कद, मोहाली से सुपर-वरिष्ठ नागरिक एवं संरक्षक, मित्र संगम पत्रिका” ने आशीर्वाद दिया।
शुभारंभ एवं सरस्वती वंदना, वरिष्ठ कवयित्री रीता जयहिंद, सांस्कृतिक सचिव, मित्र संगम ने प्रस्तुत की। काव्य पाठ, देशभक्ति के गीत, भजन, ग़ज़ल, कविताएं माननीय  वरिष्ठ गायिका प्रतिभा सपरा आदि सभी वक्ताओं ने प्रस्तुत की।
मुख्य रूप से माननीय कविगण डॉ दिवाकर गोयल, ग्रेटर नोएडा और डॉ तारा सिंह , लखनऊ ने कविताएं प्रस्तुत कर देश भक्ति का वातावरण बना दिया और खूब सराहना प्राप्त की।
वैदिक विद्वान डॉ श्वेत केतु शर्मा, बरेली, भूपेंद्र सेठी, डॉ सविता स्याल, गुरुग्राम,  डॉ नीलम वर्मा, प्रमिला कौशिक, अंजु भारती, अनिता रल्हन, सुनीता बुग्गा, नमिता राकेश, फरीदाबाद, डॉ कल्पना पांडे, सुरेश मेहरा “सुर”, वीरेंद्र आहूजा, सविता वर्मा ग़ज़ल, बबिता गर्ग सहर, फरीदाबाद, चंद्र कांता आर्य, बंगलोर तथा राजन मेहरा, शैलेश सचदेवा, संजीव आर्य ने भाग लिया।
यह सरस कार्यक्रम सवा तीन घंटे से अधिक समय तक सभी को हमारी पुण्य भूमि, भारत की धरती पर देश प्रेम से बांधे रहा।

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.