Monday, May 20, 2024
होमकविताडॉ. गीता द्विवेदी की कविता - पितु : तुम्हारी याद और गुलमोहर

डॉ. गीता द्विवेदी की कविता – पितु : तुम्हारी याद और गुलमोहर

हर दरख़्त गुलमोहर का,
क्यों खींचता है अपनी ओर |
हर वृक्ष अमलतास का,
क्यों करता है दिल में शोर |
तुम्हारी सप्तवर्षीय योजनाओं का
यादों में बदल जाना,
तुम्हारा अस्तित्व,
मांँ के आंँचल में सिमट जाना,
तुम्हारा प्यार तुम्हारी डांँट ,
तुम्हारा मौन,तुम्हारा गर्व,
तुम्हारा लक्ष्य,तुम्हारे सपने,
सब अब है मेरे अपनें |
मैंने यादों के संदूक में ताला नहीं डाला,
समय – समय पर हर एक याद को निकाला |
कभी प्रत्यक्ष-कभी परोक्ष तुम्हें महसूस कर,
हर सपने के ताने-बाने को,
मंद गति से धीरे-धीरे बुनाऔर मौन रहकर,
तुम्हारी उस चिरसंगिनी को समर्पित किया,
जो आज भी तुम्हारे उस लम्बे कद के
गर्व से गौरवान्वित होती है|
तुम्हारा हांँथ पकड़ टहलने जाना।
गुलमोहर /अमलताश की टहनियांँ
पकड़ा कर,
उनके पुष्पों को गिनाना l
हमें व्यस्त कर थकान
के एहसास से बचाना ,
इमामबाड़ा,रीजेंसी जैसी
ऐतिहासिक इमारतें दिखा ,
जीवन की क्षणभंगुरता का मर्म समझाना |
समय का महत्व समझा,
समय से पहले स्वयं दूर चले जाना l
इन सबने बना दिया हमें
आत्मनिर्भर,स्वावलंबी,समझदार,
जैसा तुमने चाहा,
पर आज भी तुम्हारे “अंतिम शब्द”
“न पाकर रोना नहीं ”
मुझे रोने नहीं देते,
आंँसुओं से मुझे कमज़ोर होने नहीं देते |
वो सहजता जो खो दी हमने
कायरता के डर से,
शब्दों,भावों ,एहसासों से
इस विशेष को सामान्य बनने नहीं देते |
तुम्हारे न होने का दुख नहीं,
क्योंकि तुम दिल ,दिमाग से
दूर कहांँ थे ,कहांँ हो ?
जब हथेली आज भी अपनी देखती हूंँ कभी,
तुम्हारे हाथों का एहसास होता है l
ऐसे में नज़रों के सामने,
कभी गुलमोहर मुस्कुराता है,
तो कभी अमलताश लहराता है,
और बड़ी से बड़ी थकान का एहसास,
खुद – ब – खुद मिट जाता है||

डॉ गीता द्विवेदी
पीएचडी, एम ए, बी एड (हिन्दी)
प्रवक्ता कानपुर
विभिन्न पत्र पत्रिकाओं में कहानी, कविता लेख एवं दोहो का प्रकाशन| प्रकाशित साझा उपन्यास- “हाशिये का हक़” शिवना प्रकाशन; प्रकाशित साझा कहानी संग्रह – “आरेंज पिघलती रही ” प्रलेक प्रकाशन| विविधा – श्रीहिंद पब्लिकेशन; पल पल दिल के पास ( विभूति झा ); TheSoup2- The Hope Publication शैली साझा कविता संग्रह (नेपाल)| संपर्क – d.geeta13@gmail.com
RELATED ARTICLES

1 टिप्पणी

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

Most Popular

Latest

Latest